महाकुंभ: नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर भगदड़ जैसे हालात, 15 यात्री घायल, राहत और बचाव कार्य जारी, प्लेटफार्म और रेलवे पुल पर यात्रियों के जूते, चप्पलों के ढेर

नई दिल्ली, 15 फरवरी। नई दिल्ली रेलवे स्टेशन के प्लेटफार्म नंबर 14 और 15 पर शनिवार देर रात भगदड़ जैसे हालात पैदा हो गए। इससे स्टेशन पर अफरा-तफरी मच गई। दिल्ली फायर सर्विस के एक अधिकारी ने बताया कि इसमें 15 यात्री घायल हो गए। घायलों को तुरंत नजदीकी अस्पताल में भर्ती कराया गया।
समाचार चैनल "आजतक" के अनुसार, घटना रात करीब 9:55 बजे हुई, जिसके बाद आपातकालीन सेवाओं को सक्रिय किया गया। राहत और बचाव कार्य के लिए चार दमकल गाड़ियां मौके पर भेजी गईं। दिल्ली फायर सर्विस के प्रमुख अतुल गर्ग ने बताया कि फायर ब्रिगेड और अन्य बचाव दल तुरंत घटनास्थल पर पहुंचे और हालात को संभाला।
नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर महाकुंभ जाने के लिए भीड़ उमड़ी थी। दोनों प्लेटफॊर्मों पर इतनी ज्यादा भीड़ पहुंच गई कि भगदड़ जैसी स्थिति बन गई। सफोकेशन के चलते कई लोग बेहोश हो गए। गैर सरकारी सूत्र भगदड़ की बात भी कह रहे हैं, लेकिन दिल्ली पुलिस की रेलवे यूनिट ने भगदड़ से इनकार किया। दिल्ली पुलिस ने घायलों की संख्या 10 बताई है जबकि गैर सरकारी सूत्र घायलों की संख्या 15 बता रहे हैं। महाकुंभ जाने वाले यात्रियों ने बताया कि वे एक घंटे तक भीड़ में दबे रहे। रेलवे पुलिस के मुताबिक महाकुम्भ स्पेशल ट्रेन में चढ़ने के लिए भीड़ अचानक बहुत ज्यादा आ गई, जिसकी वजह से सफोकेशन जैसी स्थिति पैदा हुई। पुलिस ने चार लोगों को अस्पताल भेजा। यह भी बताया जा रहा है कि स्टेशन पर पहुंची भारी भीड़ में बड़ी संख्या ऐसे लोगों की भी है जो बगैर टिकट लिए स्टेशन में प्रवेश कर गए थे। 
इस घटना की सामने आई तस्वीरों में दिख रहा है कि यात्रियों के जूते, चप्पल प्लेटफार्म के अलावा रेलवे पुल पर भी पड़े हुए हैं। 
इधर रेलवे के पीआरओ ने बताया कि कल रविवार होने के कारण नई दिल्ली स्टेशन पर महाकुम्भ जाने वाले श्रद्धालु बड़ी संख्या में पहुंच गए। ये सभी इस स्टेशन से संचालित स्पेशल ट्रेन पकड़ना चाहते थे। पीआरओ ने कहा कि स्टेशन पर कोई भगदड़ नहीं हुई है। भगदड़ की अफवाह फैलाई गई है।
इस घटना को लेकर दिल्ली की कार्यवाहक मुख्यमंत्री आतिशी ने कहा कि महाकुंभ के लिए जा रहे श्रद्धालुओं के साथ इस तरह की घटना बेहद दु:खद है। लोगों की सुरक्षा की न केंद्र सरकार को कोई फ़िक्र है और न ही आगे यूपी सरकार को। न प्रयागराज में कोई व्यवस्थाएं हैं और न ही देश के अलग-अलग राज्यों से आने वाले श्रद्धालुओं के लिए यातायात के कोई ठोस इंतज़ाम हैं। रेलवे विभाग से मेरा विनती है कि लोगों को जल्द से जल्द मदद पहुंचाएं।
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