एक और झटका: सिविल टर्मिनल के बाद रबर चेक डैम भी दूर की कौड़ी
अधिशासी अभियंता ने साफ कहा, अभी कोई काम सम्भव नहीं
छह विभागों की लेनी थी अनापत्ति, अभी तक मिली केवल तीन की
प्रदेश सरकार ने बजट भले ही स्वीकृत कर दिया हो, लेकिन कोई काम आगे नहीं बढ़ा
नौकरशाही की लापरवाही से आगरा के विकास में लग रहा असीमित समय
मंडलायुक्त ने कहा था, रबर चेक डैम बनाने में अब कोई बाधा नहीं
आगरा, 06 जुलाई। शहरवासी अभी खेरिया हवाई अड्डे के सिविल टर्मिनल के निर्माण की योजना ड्रॉप होने के झटके से उबर भी नहीं पाए थे कि सिंचाई विभाग ने एक और झटके वाली जानकारी देकर मायूस कर दिया है। विभाग का कहना है कि यमुना नदी पर ताजमहल के आगे नगला पैमा पर प्रस्तावित रबर चेक डैम अभी दूर की कौड़ी है। डैम के लिए प्रदेश सरकार ने बजट भले ही स्वीकृत कर दिया हो, लेकिन छह में से तीन विभागों की अनापत्ति अभी नहीं मिल सकी है और काम एक इंच भी आगे नहीं सरक सका है। सभी अनापत्ति मिले बिना रबर चेक डैम का काम शुरू हो पाना सम्भव नहीं है।
ताज बैराज निर्माण खण्ड के अधिशासी अभियंता द्वारा नेशनल चैम्बर ऑफ इंडस्ट्रीज एन्ड कॉमर्स के अध्यक्ष शलभ शर्मा को उपलब्ध कराए गए आधिकारिक पत्र में यह जानकारी दी गई है। अधिशासी अभियंता ने यह पत्र चैम्बर के पदाधिकारियों के साथ एक बैठक में उपलब्ध कराया।
पत्र में कहा गया है कि प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने वर्ष 2019 में ताजमहल के डाउनस्ट्रीम में रबर चेक डैम का निर्माण कराए जाने की घोषणा की थी। ताज बैराज निर्माण खंड आगरा द्वारा 413.34 करोड़ रुपये की परियोजना तैयार की गई। इस परियोजना को मुख्य अभियंता समिति द्वारा सात मार्च, 2019 को अनुमोदित भी कर दिया गया। परियोजना के क्रियान्वयन से पूर्व भारतीय अंतर्देशीय जलमार्ग प्राधिकरण, केंद्रीय जल आयोग, भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण, राष्ट्रीय स्वच्छ गंगा मिशन, वन एवं पर्यावरण मंत्रालय, ताज ट्रिपेजियम ज़ोन प्राधिकरण से अनापत्ति ली जानी थी। भारतीय अंतर्देशीय जलमार्ग प्राधिकरण, केंद्रीय जल आयोग, भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण से वर्ष 2019 में ही अनापत्ति प्रमाण पत्र मिल चुका है परंतु शेष तीन विभागों मंत्रालयों से अभी तक अनापत्ति नहीं मिली है। अधिशासी अभियंता ने पत्र में स्पष्ट लिखा है कि सभी अनापत्ति मिल जाने के बाद ही परियोजना पर काम शुरू हो सकेगा।
चैम्बर अध्यक्ष शलभ शर्मा ने इस स्थिति पर दुःख व्यक्त करते हुए कहा कि रबर चेक डैम के नाम पर आगरावासियों को केवल खुश किया जा रहा है। रबर चेक डैम बनेगा या नहीं और यदि बनेगा तो कितना वक्त लगेगा यह कोई निश्चित नहीं है।
शर्मा ने कहा कि प्रदेश सरकार 26 मई, 2022 को अपने बजट में आगरा में रबर चेक डैम निर्माण के लिये 20 करोड़ का प्रावधान कर चुकी है। इस घोषणा से शहरवासियों में खुशी की लहर दौड़ गई थी। लेकिन अधिशासी अभियंता द्वारा बताई गई ताजा स्थिति घोर निराशाजनक है।
चैम्बर के पूर्व अध्यक्ष अनिल वर्मा ने कहा कि टीटीजेडए को अनापत्ति जारी करने से पूर्व राष्ट्रीय पर्यावरण अभियांत्रिकी अनुसंधान संस्थान नागपुर (नीरी) एवं सेंट्रल एंपावर्ड कमेटी नई दिल्ली (सीईसी) से अभिमत प्राप्त करना है। नीरी द्वारा कुछ शर्तों के साथ सहमति दी जा चुकी है, किंतु सीईसी से अभिमत प्राप्त नहीं हुआ है।
पूर्व अध्यक्ष सीताराम अग्रवाल ने कहाकि पूर्व में एक मंडलीय उद्योग बंधु की बैठक के दौरान मंडलायुक्त ने बताया था कि यमुना नदी में रबर चेक डैम बनाने में अब कोई बाधा नहीं रह गयी है। किन्तु अभी भी विभागीय शिथिलताएं बनी हुई हैं।
बैठक में कोषाध्यक्ष मनोज गुप्ता, उपाध्यक्ष मयंक मित्तल भी उपस्थित थे।
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